
इत्र कारोबारियों के यहां पर 53 घंटे से कार्यवाही की जा रही अधिकारियों का आना जाना लगा है
नैमिष टुडे /संवाददाता
कन्नौज के प्रसिद्ध चित्रकार के यहां पर आयकर विभाग और जीएसटी की संयुक्त टीम की छापेमारी लगाते तीसरे दिन में जारी है टीम के अधिकारी दिन रात पत्रवालियों की जांच नगदी और संपत्ति का मिलान कर रहे हैं कार्रवाई के दौरान कारोबारी और उनके परिवार के सदस्यों का रिश्तेदार या किसी भी करीबी से संपर्क नहीं हो पा रहा है जिससे परिजन चिंतित है जांच में शामिल आयकर विभाग के वरिष्ठ अधिकारी ने मीडिया से बातचीत में कार्रवाई के बारे में कोई जानकारी देने से मना कर दिया उन्होंने कहा है की जांच अभी पूरी होने के बाद ही अधिकारी जानकारी साझा की जाएगी इस बीच कन्नौज के अन्य मित्र व्यवसाय चंद्रावली एंड सन फॉर्म के कर्मचारी या संपर्क कार्यवाही की जानकारी जीतने के प्रयास कर रहे हैं छापेमारी को लेकर किसी के पास भी सटीक जानकारी नहीं होने के कारण शहर में तरह-तरह की बातें लगाई जा रही है अधिकारियों कर्मचारियों की गाड़ी का आने-जाना लगातार जारी है जो इस बात का संकेत है की जांच अभी और समय तक चल सकती है।
(पहले जानिए पूरा मामला।)
सारी मेरा कन्नौज रोड स्थित अशोकनगर में इत्र परम चंद्र वाली एंड सन नाम से इत्र की फर्म एक ही कैंपस में छह भाई सुबह दीक्षित अतुल मनोज विपिन राम श्याम का घर और कारखाना है
सुबोध और उनके भाई के खिलाफ इनकम टैक्स विभाग को गड़बड़ी की शिकायत मिली थी यहां बुधवार की सुबह 7:00 बजे प्रवर्तन निदेशालय आईटी और जीएसटी की टीम पहुंची इसके बाद टीम ने कार्रवाई की फिलहाल अधिकारियों ने कुछ भी बताने से मना कर दिया एक साल पहले भी उनकी या जीएसटी की टीम ने छापेमारी की थी हल्की उसे वक्त कोई बड़ी गड़बड़ी सामने नहीं आई थी।
(फर्म की शुरुआत कैसे हुई थी)
इत्र फॉर्म चंद्रावली और संत की कहानी तीन पीढ़ी पुरानी है इसकी शुरुआत खटिया थाना क्षेत्र के होली पूर्व गांव निवासी किसान के बेटे पंडित चंद्रावली ने की थी उन्होंने कड़ी मेहनत के बलबूते कन्नौज के बड़े इत्रकारोबारियों से प्रतिस्पर्धा की और खुद का नाम कन्नौज के गिने-चुने इत्र कारोबारी में शुमार कराया इसके बाद उनके बेटे वीरेंद्र दीक्षित ने पिता की विरासत को संभाला और कई गुना ज्यादा कारोबार बढ़ा दिया।
मनोज दीक्षित ने छिबरामऊ से चुनाव लड़ा था
तीसरी पीढ़ी में वीरेंद्र दीक्षित के 6 बेटे सुबोध दीक्षित अतुल दीक्षित मनोज दीक्षित विपिन दीक्षित राम दीक्षित और श्याम दीक्षित ने व्यापार को आगे बढ़ाया हाल की तीसरी पीढ़ी कारोबार के साथ ही राजनीति में सक्रिय रही मानो दीक्षित ने राजनीति में किस्मत आजमाने के लिए राष्ट्रीय क्रांति पार्टी के टिकट से छिबरामऊ विधानसभा से चुनाव लड़ा हालांकि में हार गए थे
पूर्व भाजपा सांसद सुब्रत पाठक
पर दिया था विवादित बयान हर के बाद मनोज दीक्षित ने समाजवादी पार्टी का दामन पकड़ लिया भाई अखिलेश यादव के कवियों में गिने जाने लगे समाजवादी पार्टी ने उन्हें प्रदेश सचिव का पद दे दिया जिसके बाद वह लगातार सपा में सक्रिय है 2024 लोकसभा चुनाव के दौरान मनोद दीक्षित ने कन्नौज में अखिलेश यादव के मंच से भाजपा सांसद सुब्रत पाठक पर विवादित बयान दिया था उन्होंने भाजपा सांसद के टुकड़े करने की बात मंच से कही थी
मनोज के भाई सुबोध के परिवार का सभी राजनीति पार्टियों से अच्छे संबंध है उनकी एक भाई विपिन समाज कल्याण मंत्री असीम अरुण के करीबी है इसके अलावा राम दीक्षित के भाजपा के पूर्व सांसद सुमित पाठक से अच्छे संबंध सुबोध दीक्षित की पत्नी उमा दीक्षित ने पिछले साल कन्नौज नगर पालिका अध्यक्ष से चुनाव लड़ा था उमा ने भाजपा की ओर से दावेदारी पेशी की थी हालांकि उन्होंने बसपा प्रत्याशी कौसरजहां अंसारी को हरा दिया था।