लकड़कट्टो के हौसले बुलंद प्रशासन की मिली भगत से हरे भरे पेड़ों पर चल रहा , आरा
सीतापुर मिश्रिख – मछरेहटा
84 कोसी परिक्रमा मार्ग बर्मी से मछरेहटा तिलपुरवा शाहपुर में लकड़ कटेरे धड़ल्ले से करा रहे हैं प्रतिबंधित वृक्षो का कटान (लग रहा है पर्यावरण संरक्षण पर प्रश्न चिन्ह)। सीतापुर/फल एवं छायादार वृक्षों का रोपण कराने के लिये सरकार प्रति वर्ष भारी भरकम धनराशि खर्च करके वृक्षारोपण अभियान चलाती हैं और लोगों को नये वृक्ष लगाने के लिये सरकारी तन्त्र व्दारा लोगों को प्रेरित भी किया जाता है लेकिन विडम्बनाओं के चलते मिश्रित/नैमिषारण्य तीर्थ की परिक्रमा मार्ग की पावन धरती को उद्यान विभाग और वन विभाग के लोगो की दूषित नीतियों के कारण लकड़ कटेरे वृक्ष विहीन करके मरुस्थल बनाने पर तुले हुये हैं। ज्ञातव्य हो कि आम और नीम के वृक्ष कटान पर तो परमिट प्रक्रिया लागू है जिसकी ओर से प्रशासन और शासन भी उदासीन बना हुआ है। गौरतलब है कि एक तरफ फलदार वृक्षों के कटान पर प्रतिबंध होने की बात तो जोर-शोर से प्रचारित है पौराणिक धरती पर बर्मी परिक्रमा मार्ग तिलपुरवा शाहपुर में चार पांच आम के वृक्ष पर लकडकट्टो ने वन विभाग की मिलीभगत से हरे भरे वृक्षों पर चलि रहे है आरा
अब देखना यह होगा कि वनविभाग के आलाधिकारिओ का रवैया क्या रहेगा
मेरी अगली खबर वनविभाग के कार्यशैली पर निर्भर करेगी