
क्या सीतापुर लेबर इंस्पेक्टर आए मुखबिरो के इशारों पर या सिर्फ खाना पूर्ति?
मीडिया कर्मियों का श्रम विभाग इंस्पेक्टर ने नही उठाया फोन,नही दी जानकारी
नैमिष टुडे
अभिषेक शुक्ला
लहरपुर(सीतापुर)- जहां एक तरफ जिला सीतापुर ही नहीं वरन अधिकतर कस्बों व गांव में कपड़ों,मर्चेंट, व अन्य दुकानों पर अधिकतर संख्या में बच्चों के द्वारा बाल श्रम करवाया जाता है।जो की कानून अपराध है जिस संबंध में लेबर इंस्पेक्टर श्रीपाल जी ने लहरपुर कस्बे में गोपनीय तरीके से कार्यवाही की और किसी भी मीडिया कर्मी को भनक तक नहीं लगी।
किन-किन दुकानदारों पर कार्यवाही की गई और किन-किन दुकानदारों पर इंस्पेक्टर साहब का वरद हस्त बना रहा यह जानकारी साझा करने में इंस्पेक्टर साहब ने उचित नहीं समझा।
बाल श्रम को लेकर के इंस्पेक्टर साहब ने क्या-क्या कार्यवाहियां की और क्या उनकी मंशा थी इसको स्पष्ट रूप से जानने के लिए जब मीडिया कर्मी के द्वारा उनके नंबर 8299696999पर फोन किया गया तो उन्होंने फोन नहीं उठाया।
सबसे बड़ा सवाल यह उठता है की क्या लहरपुर में एक या दो ही दुकानों पर बच्चे कार्य करते है?जब की कस्बे में कई दुकानों पर बच्चे कार्य करते है तो बाल श्रम निरीक्षक द्वारा अन्य दुकान दारो पर कार्यवाही क्यों नहीं की गई
क्या दाल में काला? या पूरी दाल ही काली ?इस चरितार्थ कहावत को बाल श्रम विभाग की कार्यवाही पूर्ण करती हुई नजर आ रही है।
क्यों की कार्यवाही के बाद इंस्पेक्टर महोदय मीडिया कर्मियों को कोई भी जानकारी देना उचित नहीं समझा!आखिर इसका उद्देश्य क्या हो सकता है?